ब्रोमेलेन एंजाइम में 8 तरह के केमिकल होते हैं प्रोटीन का पचाते हैं और प्रोटियोलिटिक एंजाइम बनाते हैं।
जॉइंट्स और मसल्स में सूजन दूर करने और इम्यूनिटी बढ़ाने वाला अनानास घावों को भी तेजी से भरता है। ब्राजील के वैज्ञानिकों ने एक रिसर्च में यह दावा किया है। वैज्ञानिकों के मुताबिक इसमें एक खास तरह का ब्रोमेलेन एंजाइम पाया जाता है। जो सूजन और घाव को दूर करता है। यह एंजाइम पोस्ट-सर्जरी के बाद रिकवरी में भी तेजी लाता है। डाइटीशियन इंदू टॉक से जानते हैं इसके फायदे.
Benefits of Pineapple |
यह कैसे काम करता है
ब्राजील के वैज्ञानिक और ईरानियन रेड क्रेसेंट मेडिकल जर्नल में प्रकाशित रिसर्च के अनुसार इसमें मौजूद ब्रोमेलेन एंजाइम पाया जाता है। किसी तरह का घाव या सर्जरी के बाद रिकवरी में यह मदद करता है। ब्रोमेलेन एंजाइम में 8 तरह के केमिकल होते हैं प्रोटीन का पचाते हैं और प्रोटियोलिटिक एंजाइम बनाते हैं। कई रिसर्च में पाया गया कि यह एंजाइम कैंसर का कारण बनने वाले ट्यूमर को रोकने में मदद करता है। साथ ही धमनियों में ब्लड क्लॉटिंग और ब्लॉकेज को रोकता है।
क्या है इसमें ?
अनानास को पोषक तत्वों का भंडार भी कहा जाता है क्योंकि इसमें ज्यादातर ऐसे विटामिंस और मिनिरल्स पाएं जाते हैं जो बेहद जरूरी हैं। इसमें प्रोटीन, कार्ब, शुगर और फायबर पाया जाता है। इसके अलावा विटामिन-ए, सी, बी-5, बी-6, फॉलेट, पोटेशियम, कॉपर, मैग्नीज, कैल्शियम, सोडियम और मैग्नीशियम मौजूद होता है।
वजन कम करता और इम्युनिटी बढ़ाता है
यह एक लो कैलोरी फूड है इसलिए ऐसे लोग जो वजन घटाना चाहते हैं वे इसे डाइट में शामिल कर सकते हैं। इसमें मौजूद विटामिन-सी डब्ल्यूबीसी की संख्या बढ़ाकर इम्युनिटी यानी शरीर में रोगों से लड़ने की क्षमता को बढ़ाता है। इसके अलावा एंटीऑक्सीडेंट्स शरीर को नुकसान और कैंसर का कारण बनने वाले फ्री-रेडिकल्स से बचाता है।
पेट को रखता सेहतमंद
इस डाइट में शामिल करते हैं तो पेट से जुड़ी दिक्कतें जैसे कब्ज, डायरिया, इरिटेबल बाउल सिंड्रोम का खतरा कम रहता है। इसके अलावा ब्लड क्लॉटिंग और हाई बीपी भी कंट्रोल रहता है। इसमें मौजूद हाई फायबर गैस्ट्रिक एसिस का लेवल बढ़ाता है जिससे खाना पचने में मदद मिलती है। इसके अलावा पेट में सूजन की समस्या को भी दूर करता है।
डायबिटीज और अस्थमा रोगियों के लिए फायदेमंद
विटामिन-सी, ब्रोमेलेन और बीटा-कैराटिन के कारण अनानास अस्थमा रोगियों को सांस लेने में तकलीफ को दूर करता है। ऐसे लोग टाइप-2 डायबिटिज से परेशान हैं वे डाइट में इसे शामिल कर सकते हैं। यह ब्लड शुगर, इंसुलिन और लिपिड का लेवल कंट्रोल करता है। हालांकि इसमें शुगर की कुछ मात्रा रहती है इसलिए इसे अधिक मात्रा में न लें।
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